ऋषभ शुक्ला
2 किताबे ( 2 हिंदी )
16 रचनायें ( 16 हिंदी )
मेरा नाम ऋषभ शुक्ला है. आप सभी का स्वागत है मेरे साथ इस कहानियों और कविताओं के सफर में जहाँ आप पढ़ सकेंगे मेरे कुछ विचार, मेरे जीवन की कुछ घटनाएँ, और कुछ मुद्दे जो शायद हमें सोचने पर मजबूर करदे. मै अपने इस साहित्यिक सफर में ब्लॉग के माध्यम से आप सभी को मेरी सोच और दॄष्टिकोण से अवगत कराऊंगा, और आप सभी से उचित मार्गदर्श की अपेक्षा रखता हूँ.मेरे मन में जो भी भावनायें आती है या जो भी मै महसूस करता हूँ, मै अपने विचारो से सबको अवगत कराने का प्रयत्न करता हूँ, मै ऐसा नहीं कह रहा हूँ के मै लेखक या कवि हूँ, बस जो सोचा लिख दिया. अगर आप सभी को मेरा प्रयत्न अच्छा लगा तो थोड़ी खुशी मिलती है.
फूलों में भी, काँटों में भी
24 जुलाई 2018
1
2
दुनिया नहीं कुछ मुझे देने वाली
21 जुलाई 2018
1
0
सो जा नन्हे-मुन्हे सो जा
20 जुलाई 2018
0
0
देशवा बचाके रख भईया
19 जुलाई 2018
1
0
मेरे मन की
12 जुलाई 2018
2
0
मेरे मन की
11 जुलाई 2018
1
0
मजदूर
1 मई 2018
0
1
मासूमीयत
6 जुलाई 2017
6
3
कसूरवार कौन ?
11 अगस्त 2016
5
0
मेरा घर
10 अगस्त 2016
3
0